नई दिल्ली: तृणमूल कांग्रेस ने (MAHUA MOITRA) महुआ मोइत्रा के मामले में आचार समिति की कार्यवाही की निष्पक्षता पर सवाल खड़े करते हुए लोकसभा में कहा कि पार्टी नेता के खिलाफ नकदी के लेनदेन का कोई सबूत नहीं है। सदन में आचार समिति की रिपोर्ट पर चर्चा के दौरान TRINAMOOL CONGRESS के नेता SUDEEP BANDOPADHYAYA ने लोकसभा अध्यक्ष से कई बार आग्रह किया कि मोइत्रा को उनका पक्ष रखने का मौका दिया जाए, लेकिन ओम बिरला ने पुरानी संसदीय परिपाटी का हवाला देते हुए इससे इनकार कर दिया l
ओम बिरला ने पार्टी सांसद KALYAN BANERJEE को बोलने का मौका दिया। SUDEEP BANDOPADHYAYA ने कहा समिति की पूरी रिपोर्ट मीडिया में लीक कर दी गई है। उन्होंने कहा, ‘‘मैं हाथ जोड़कर आग्रह करता हूं कि महुआ (MAHUA MOITRA)को बोलने का मौका दिया जाए।’’ KALYAN BANERJEE ने कहा, ‘‘निष्पक्ष सुनवाई तब होती है जब प्रभावित व्यक्ति को सुना जाता है। अगर उसे सुना नहीं जाएगा तो कोई निष्पक्ष सुनवाई नहीं होगी।’’
संसदीय कार्य मंत्री PRAHLAD JOSHI ने कहा, ‘‘ लोकसभा के पूर्व अध्यक्ष SOMNATH CHATERJEE के समय 10 लोगों को निष्कासित किया गया था। उस समय चटर्जी ने स्पष्ट रूप से कहा था कि आरोपी सांसद समिति के समक्ष पेश हुए, ऐसे में इन्हें सदन में बोलने का अधिकार नहीं है।’’ उन्होंने कहा कि अब विपक्ष को यह अनैतिक सवाल नहीं उठाना चाहिए।